अप्रैल को सामाजिक न्याय माह के रूप में मनाएगा आजसू रांची में 6, 7 व 8 अक्टूबर को होगा आमसभा, सरकार की नीति, निर्णय व मंशा की होगी पोल
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- 6, 7 और 8 अक्टूबर को रांची में होगी कांग्रेस, खोलेगी सरकार की नीति, निर्णय और नीयत की कच्ची चादर
रांची31 मिनट पहले
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आजसू अप्रैल को सामाजिक न्याय माह के रूप में मनाएगी
आजसू पार्टी का राष्ट्रीय अधिवेशन 6, 7 और 8 अक्टूबर को रांची में होगा. इससे पहले एक लाख सक्रिय कार्यकर्ता खड़े होंगे. प्रदेश की वर्तमान राजनीतिक स्थिति और जनता के मन में व्याप्त निराशा व बेचैनी को देखते हुए आजसू पार्टी ने एक व्यापक आन्दोलन की रूपरेखा तैयार की है। उक्त जानकारी आज पत्रकारों से बातचीत करते हुए पार्टी प्रवक्ता डॉ. देवशरण भगत ने दी.
सरकार ने जनादेश के साथ धोखा किया
उन्होंने अपनी बात रखते हुए कहा कि महागठबंधन की सरकार ने तीन साल में जनादेश के साथ बड़ा धोखा किया है. उन्होंने युवाओं के भविष्य और झारखंडी अस्मिता और अस्मिता से खिलवाड़ किया है। योजना नीति के नाम पर अपना राजनीतिक एजेंडा सेट करने की कोशिश में मुख्यमंत्री ने सब कुछ उलझा दिया है. 1932 के चुनाव से पहले जो सरकार खतियान आधारित स्थानीय नीति, नियोजन नीति और आरक्षण की बात करती थी, वह अब 1932 का नाम सुनते ही सहम जाती है. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन हर विधानसभा सत्र में अलग-अलग बयान देते रहते हैं. यह सरकार भी जातिगत जनगणना से भाग रही है जबकि आरक्षण का यही आधार है।
एक लाख सक्रिय कार्यकर्ता अधिवेशन के समक्ष खड़े होंगे
अक्टूबर में होने वाले महाधिवेशन से पहले एक लाख सक्रिय कार्यकर्ताओं को खड़ा किया जाएगा, जो सांगठनिक और चुनावी मोर्चे पर पार्टी की रीढ़ साबित होगा. पार्टी का महाधिवेशन छह से आठ अक्टूबर तक रांची में होगा. साथ ही संगठन के ढांचे में सुधार के बाकी बचे काम को समय सीमा के तहत पूरा करने को कहा है.
सात सूत्रीय मांगों को लेकर पार्टी हमेशा मुखर रही है
आजसू पार्टी सात सूत्री मांगों को लेकर लगातार आंदोलन कर रही है. पार्टी इस संघर्ष और उथल-पुथल को भविष्य में भी जारी रखेगी। डॉ. देवशरण भगत ने कहा कि हमारी सात सूत्रीय मांगों में खतियान आधारित स्थानीय एवं नियोजन नीति, पिछड़ी जातियों के लिए जातिगत जनगणना और जनसंख्यावार आरक्षण, जो पहले अनुसूचित जनजाति की सूची में थे, उन्हें फिर से अनुसूचित जनजाति में शामिल करने की मांग की गई है. सरना धर्म संहिता में मुख्य रूप से बेरोजगारों को रोजगार, झारखंड के संसाधनों की लूट को रोकना और झारखंड आंदोलनकारियों को सम्मान देना शामिल है।
आंदोलन की रूपरेखा तैयार
प्रदेश की वर्तमान राजनीतिक स्थिति और जनता के मन में व्याप्त निराशा व बेचैनी को देखते हुए आजसू पार्टी ने एक व्यापक आंदोलन की रूपरेखा तैयार की है।
ऐसी रूपरेखा है
- 5 अप्रैल को पूरे प्रदेश में रघुनाथ महतो शहीदी दिवस समारोह और 11 अप्रैल को सिदो कान्हू जयंती समारोह आयोजित किया जाएगा.
- 13 अप्रैल को योजना नीति, जातिगत जनगणना, आरक्षण और नौकरी के मुद्दे पर सभी जिलों में जिला स्तरीय सामाजिक न्याय मार्च निकाला जायेगा.
- 14 अप्रैल को सभी जिलों में बाबा साहेब अंबेडकर जयंती का आयोजन किया जाएगा।
- रांची में 23 अप्रैल को राज्य स्तरीय सामाजिक न्याय मार्च निकाला जायेगा.
- शहीद गंगानारायण सिंह की जयंती 25 अप्रैल को मनाई जाएगी
- अनुसूचित जनजाति महासभा का राज्य स्तरीय अधिवेशन 27 अप्रैल को साहेबगंज के भोगनाडीह में
- अनुसूचित जाति महासभा का राज्य स्तरीय अधिवेशन 30 अप्रैल को चतरा में
- 6,7 और 8 अक्टूबर को रांची में केंद्रीय अधिवेशन
पार्टी ने R&D विंग बनाया
आजसू पार्टी ने एक रिसर्च एंड डेटा एनालिसिस विंग बनाई है। ऐसा करने वाली यह प्रदेश की पहली पार्टी होगी। वहीं आजसू प्रमुख सुदेश कुमार महतो सहित अन्य नेताओं ने रांची के मोरहाबादी स्थित नीलांबर-पीतांबर पार्क जाकर वीर शहीद नीलांबर-पीतांबर जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि दी. उन्होंने कहा: अंग्रेजी शासन के खिलाफ आंदोलन का बिगुल फूंकने वाले झारखंड के वीर सपूत नीलांबर-पीतांबर हमेशा हमारे जेहन में रहेंगे. आज का दिन उन असंख्य बलिदानों को याद करने और उनके संघर्षों को याद करने का है, जिनकी कुर्बानी, समर्पण और शहादत ने हमें आजादी दिलाई।
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